परिजनों में शोक की लहर
करमा सोनभद्र। प्रा. वि. टिकुरिया, शिक्षा क्षेत्र करमा, जनपद सोनभद्र में कार्यरत शिक्षामित्र बद्री प्रसाद की हृदय गति रुकने से मौत हो गई। परिजनों ने बताया कि आज सुबह 5 बजे के लगभग मार्निंग वाक के समय बद्री प्रसाद अचानक बेहोश होकर कर गिर पड़े। आनन फानन में परिवार के सदस्यों ने रॉबर्ट्सगंज छपका के एक निजी अस्पताल में भर्ती करवाया, जहां लगभग सायं 4 बजे के करीब डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया। आदर्श समायोजित शिक्षक शिक्षामित्र वेलफेयर एसोसिएशन सोनभद्र के जिलाध्यक्ष वकील अहमद खान ने कहा कि बद्री नाथ बड़े ही कर्मठी संघठन के प्रति समर्पित व्यक्ति थे। समायोजन निरस्त होने के बाद से ही चिन्तित रहा करते थे कि अल्प मानदेय में जीवन यापन करना दुर्लभ हों जा रहा है। बाल बच्चों का परवरिश कैसे होगा। जिलाध्यक्ष श्री खान ने कहा कि अब भी सरकार शिक्षामित्रो के भविष्य के प्रति कोइ ठोस कदम नहीं उठाती है तो आने वाले दिनों में गुरुजनों के बच्चे भीख मांगते हुए दिखाई देंगे। बहुत से शिक्षामित्र स्कूल के बाद रिक्शा चलाने व सब्जी बेचने कार्य कर रहे हैं।इस महंगाई में शिक्षामित्रों की दिन प्रति दिन स्थिति दयनीय होती जा रही है।ऐसे ही करीब आठ हजार शिक्षामित्र काल के गाल में शमा चुके हैं। जबकि माननीय प्रधानमंत्री ने अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी में लाखों भीड़ के सामने कहे थे कि शिक्षामित्रो की जिम्मदारी मेरी है। लेकिन सात वर्ष हों गए आज तक मानदेय में एक रुपए का भी इज़ाफा नहीं हुआ। जबकि मंहगाई मे चार गुना की वृद्धि हुईं हैं। रोज दर्जनों शिक्षामित्रो की मौत हों रही हैं। गुरु कहलवाने वाले फटे हाल शिक्षामित्रों पर सरकार को जल्द से जल्द कोई ठोस कदम उठाना चाहिए जिससे शिक्षामित्रों का भी जिन्दगी खुशहाल हो सकें। चार गुना मनोबल के साथ नौनिहालों की जिन्दगी संवार सके।